मॉनसून सत्र : विधानमंडल में विपक्षी दलों का हंगामा, विपक्ष के सदस्यों ने वेल में आकर सरकार के खिलाफ की नारेबाजी

विधान सभाध्यक्ष ने सदस्यों से कई बार सीट पर जाने का आग्रह किया. उन्होंने कहा कि सरकार को आसन की ओर से निर्देशित किया गया है कि वे इस गंभीर मामले में अपनी बात कहें. सरकार इसके लिए तैयार भी है. आसन के यह कहने के बाद भी जब विपक्षी शोरगुल करते रहे. इसके बाद सदन की कार्यवाही भोजनावकाश तक के लिए स्थगित कर दी गयी. सदन महज 15 मिनट ही चल सका.
मंगलवार को जैसे ही प्रश्नकाल शुरू हुआ भाकपा माले के विधायक के पोस्टर लेकर बेल में आ गये और नारेबाजी करने लगे. माले इस मामले की न्यायिक जांच की मांग कर रहा था. इसी दौरान विपक्ष के नेता तेजस्वी प्रसाद यादव ने कहा कि मुजफ्फरपुर बालिका गृह में यौन शोषण का मामला बेहद गंभीर है. सरकार और प्रशासन इस मामले में कार्रवाई करने से बच रहा है. अभी तक जो भी कार्रवाई हुई है, वह न्यायालय के आदेश पर हुई है.
उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार दोषियों को बचाने में लगी है. इस कांड में अब तक 29 बच्चियों के साथ बलात्कार की पुष्टि हो चुकी है. श्री यादव ने कहा कि सुशासन की सरकार में अपराध करने की पूरी छूट है. सरकार का कानून व्यवस्था पर कोई नियंत्रण नहीं है. उन्होंने जहानाबाद नालंदा और गया में लड़कियों के साथ छेड़खानी तथा बलात्कार की घटनाओं की चर्चा की.
यादव ने कहा कि मुख्यमंत्री दावा करते हैं कि लड़कियां अब अकेले भी रात के बारह बजे कहीं आ जा सकती हैं, लेकिन उनके इस दावे के विपरीत राज्य में स्थिति यह है कि लड़कियां अपने अभिभावकों के साथ भी सुरक्षित नहीं हैं. इसलिए इस मामले पर सदन में चर्चा कराने के लिए कार्यस्थगन प्रस्ताव को मंजूर किया जाये. अध्यक्ष ने कहा कि वे सही समय पर इस मामले को उठाएं, लेकिन विपक्ष शोरगुल करता रहा.
सीबीआई जांच हो : राबड़ी
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