हर लड़की को जन्म से स्नातक तक सरकार देगी 54 हजार की सहायता

2007 में शुरू हुई थी योजना:मुख्यमंत्री कन्या सुरक्षा योजना की शुरुआत 2007-08 में की गई थी, इस योजना को शुरू करने का उद्देश्य बेटियों की जन्म दर को बढ़ावा देने, समाज में लिंग भेद की समस्या दूर करना, कन्या भ्रूण हत्या को रोकना, लिंगानुपात को बढ़ाना और जन्म निबंधन को बढ़ावा देना था। इस योजना के तहत बीपीएल परिवार में 22 नवंबर 2007 के बाद जन्म लेने वाली बेटियों को सरकार द्वारा 2000 रुपए का निवेश प्रमाणपत्र दिया जाता है। और यह 18 वर्ष पूरा होने पर उसकी पूरी राशि बेटी के नाम उपलब्ध करा दी जाती है। इस योजना का संचालन आंगनबाड़ी केंद्रों के जरिए किया जा रहा है।
बेटी के जन्म के समय दो हजार रुपए मिलेंगे:मुख्यमंत्री कन्या उत्थान योजना के तहत राज्य की हर लड़की को जन्म से स्नातक तक कुल 54 हजार की सहायता राज्य सरकार देगी। मुख्यमंत्री कन्या सुरक्षा योजना में सहायता राशि सिर्फ गरीब परिवार की बेटियों को ही दी जाती है, जबकि इसका दायरा विस्तृत करते हुए मुख्यमंत्री कन्या उत्थान योजना के तहत राज्य की हर लड़की को जन्म से स्नातक तक कुल 54 हजार की सहायता राज्य सरकार द्वारा देने की योजना है। इस योजना के तहत लड़की के जन्म के समय 2000 रुपए, आधार में नाम जुड़ते ही 1000 रुपए, टीकाकरण के बाद 2000 रुपए, इंटर पास करने पर 10000 रुपए (अविवाहित लड़कियों को) और स्नातक की पढ़ाई पूरी करने पर 25000 रुपए देने का प्रावधान है।
सेनेटरी नैपकिन के लिए हर वर्ष दिए जा रहे 300 रुपए:पोशाक के लिए 600 रुपए प्रतिवर्ष वर्ग 1, 2 में, 700 रुपए वर्ग 3 से 5 तक, 1000 रुपए वर्ग 6 से 8 तक, 1500 रुपए वर्ग 9 से 12 तक तथा 300 रुपए वर्ग 7 से 12वीं तक की छात्राओं को सेनेटरी नैपकिन के लिए प्रतिवर्ष देने का प्रावधान है। इस योजना पर कुल 2223 करोड़ खर्च किए जाएंगे। इसकी जानकारी निकटतम आंगनबाड़ी केंद्र, बाल विकास परियोजना पदाधिकारी, जिला प्रोग्राम पदाधिकारी, प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी, प्रभारी शिक्षा पदाधिकारी, प्रभारी चिकित्सा पदाधिकारी और असैनिक शल्य चिकित्सक आदि से संपर्क कर सकते हैं।
via bhasakr
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