शेल्टर होम केस : सुप्रीम कोर्ट ने बिहार सरकार को TISS की रिपोर्ट सार्वजनिक करने का दिया निर्देश

केंद्र की ओर से पेश अतिरिक्त सालिसिटर जनरल (एएसजी) पिंकी आनंद ने पीठ को बताया कि सरकार ने राज्यों को पिछले साल ही 1575 बच्चों के उत्पीड़न के बारे में जानकारी दे दी है. पीठ ने एएसजी से पूछा, 1575 लड़के-लड़कियां यौन और शारीरिक उत्पीड़न के पीड़ित हैं. आपने इस बारे में क्या किया? उन्हें किन आश्रय गृहों में रखा गया है? इस पर राज्यों ने क्या कार्रवाई की है?' एएसजी ने पीठ को बताया कि वह इस विषय में निर्देश प्राप्त करके अदालत के पास वापस आयेंगी.
बिहार सरकार की ओर से पेश वरिष्ठ अधिवक्ता रंजीत कुमार ने पीठ को बताया कि ‘टाटा इंस्टीट्यूट आफ सोशल साइंसेज' द्वारा तैयार राज्य के आश्रय गृहों की सोशल आडिट रिपोर्ट सार्वजनिक करने पर उसे कोई आपत्ति नहीं है. पीठ ने बिहार सरकार को रिपोर्ट सार्वजनिक करने का निर्देश दिया. बिहार सरकार ने अदालत से यह भी कहा कि एम्स, दिल्ली सहित तीन संगठन मुजफ्फरपुर के एक आश्रय गृह में कथित रूप से बलात्कार और यौन उत्पीड़न की शिकार लड़कियों के मानसिक एवं सामाजिक पहलू पर गौर कर रहे हैं.
Comments
Post a Comment