पटना : अगले साल दिसंबर तक 642 वार्डों में लोगों को मिलेगा स्वच्छ पानी
योजना पर काम शुरू करने की मिली प्रशासनिक स्वीकृति
पटना : अगले साल दिसंबर तक पूर्णिया व सुपौल जिले के ग्रामीण इलाके के 642 वार्डों में लोगों को आयरन मुक्त स्वच्छ पानी मिलने की संभावना है.
दोनों जिले के 14 प्रखंडों में मुख्यमंत्री पेयजल निश्चय योजना के तहत आयरन रिमूवल ट्रीटमेंट प्लांट लगा कर लोगों के घरों तक स्वच्छ पानी पहुंचाया जायेगा. योजना के तहत पाइप से घरों में पानी पहुंचाया जायेगा. सरकार ने दोनों जिलों में हर घर नल का जल योजना के तहत काम शुरू करने की प्रशासनिक स्वीकृति दे दी है. लोक स्वास्थ्य अभियंत्रण विभाग जलापूर्ति योजना के तहत काम करने की प्रक्रिया शुरू कर दी है. राज्य योजना मद से इन कामों पर लगभग 336 करोड़ खर्च किये जायेंगे. योजना के तहत काम करनेवाली एजेंसी को घरों तक पानी पहुंचाने के साथ पांच साल तक उसका संचालन व मेंटेनेंस करना होता है.

सुपौल व पूर्णिया जिले आयरन दूषित पानी प्रभावित इलाका है. पानी में आयरन की अत्यधिक मात्रा से इसका असर स्वास्थ्य पर पड़ता है. सरकार ने मुख्यमंत्री पेयजल निश्चय योजना के तहत आयरन प्रभावित इलाके में आयरन रिमूवल ट्रीटमेंट प्लांट लगा कर लोगों के घरों तक स्वच्छ पानी पहुंचाने का निर्णय लिया है.
सुपौल जिले सुपौल प्रखंड में 133, प्रतापगंज प्रखंड में 77, बसंतपुर प्रखंड में 44, पिपरा प्रखंड में 32, छातापुर प्रखंड में 12, निर्मली प्रखंड में 19, सरायगढ़ प्रखंड में 68 व त्रिवेणीगंज प्रखंड में 57 वार्डों को चिह्नित किया गया है. वहीं, पूर्णिया जिले में पूर्णिया पूर्व प्रखंड में 12, कसबा प्रखंड में 56, कृत्यानंद नगर में 110, बनमनखी प्रखंड में 30 व धमदाहा प्रखंड में 32 वार्डों का चयन हुआ है.
खर्च होंगे 336 करोड़
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